Saturday, April 18, 2020

कोरोना पर घिरे चीन ने गुपचुप किया परमाणु परीक्षण China secretly conducts nuclear test






कोरोना पर घिरे चीन ने गुपचुप किया परमाणु परीक्षण
China secretly conducts nuclear test
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वाशिंगटन, रायटर। अमेरिका ने चीन पर गुपचुप तरीके से कम शक्ति वाले परमाणु परीक्षण का आरोप लगाया है। अमेरिका का कहना है कि इस तरह के विस्फोट पर प्रतिबंध के अंतरराष्ट्रीय करार के बावजूद चीन ने ऐसा कदम उठाया है। हालांकि चीन ने किसी भी परीक्षण से इन्कार किया है। पहले ट्रेड वार और अब कोरोना वायरस के कारण अमेरिका और चीन के बीच तनाव की स्थिति बनी हुई है।
अमेरिका का कहना है कि वुहान में फैले इस वायरस को संभालने में चीन की लापरवाही के कारण ही दुनियाभर में इस महामारी का प्रकोप हुआ है। महामारी के लिए जिम्मेदार ठहराए जाने को लेकर चीन कई बार नाराजगी जता चुका है। अब अमेरिका की ओर से परमाणु परीक्षण के आरोप से यह तनातनी और गहराने की आशंका है। चीन द्वारा परमाणु परीक्षण करने की खबर सबसे पहले वाल स्ट्रीट जर्नल में प्रकाशित हुई।
अमेरिका के विदेश विभाग का कहना है कि चीन के लोप न्यूर परमाणु परीक्षण केंद्र की गतिविधियों से इस बात की आशंका गहराई है कि चीन 'जीरो यील्ड' मानक का उल्लंघन कर रहा है। जीरो यील्ड के तहत ऐसे परमाणु परीक्षण को अनुमति है, जिसमें कोई एक्स्प्लोसिव चेन रिएक्शन नहीं होता है। रिपोर्ट में परीक्षण का कोई प्रमाण दिए बिना कहा गया है, 'सालभर लोप न्यूर परीक्षण केंद्र के आसपास की गतिविधियां और चीन की ओर से पारदर्शिता की कमी से इस बात की आशंका गहरा गई है कि चीन जीरो यील्ड मानक का उल्लंघन कर रहा है।'
साल 1996 में परमाणु हथियारों की सुरक्षा को सुनिश्चित करने के लिए कंप्रेहेंसिव टेस्ट बैन ट्रिटी (सीटीबीटी) हुई थी। चीन संधि के अनुपालन पर नजर रखने वाले मॉनिटरिंग सेंटर के सेंसर तक पहुंचने वाले डाटा ब्लॉक करने जैसे कदम उठाकर पारदर्शिता को प्रभावित करता रहा है। सीटीबीटी ऑर्गनाइजेशन के प्रवक्ता कहना है कि 2018 में चीन में लगे पांच सेंसर को मिलने वाले डाटा में बाधा आनी शुरू हुई थी। हालांकि अगस्त, 2019 से इस डाटा में कोई बाधा नहीं आई है।
चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिजियन ने कहा कि चीन परमाणु परीक्षणों पर रोक के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा, 'चीन ने हमेशा जिम्मेदारी से काम किया है और अंतरराष्ट्रीय मानकों और अपने किए वादे का दृढ़ता से पालन करता है।' गौरतलब है कि चीन पर कोरोना वायरस को लेकर जानकारी छिपाने के भी आरोप लग रहे हैं। ऐसे में परमाणु परीक्षण की खबर उसके लिए परेशानी का सबब बन सकती है। 


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